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पीएफआई आतंकी संगठन, आरएसएस ने देश हित में किया काम: सुशील मोदी

मुजफ्फरपुर (जनमन भारत संवाददाता)। कुढ़नी के पूर्व विधायक केदार गुप्ता के डुमरी स्थित आवास पर पूर्व मुख्यमंत्री उपमुख्यमंत्री और राज्यसभा सांसद सुशील मोदी उनकी माता स्वर्गीय शारदा कुंवर के श्राद्ध कार्यक्रम में शामिल होने के लिए पहुंचे। उन्होंने उनके चित्र पर पुष्प अर्पित कर परिवार को सांत्वना दी। इसके बाद पत्रकारों को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि राजद के राष्ट्रीय अध्यक्ष लालू यादव का आरएसएस के खिलाफ बयान उनकी मानसिकता को प्रदर्शित करता है। आरएसएस से किसी का वैचारिक मतभेद हो सकता है लेकिन उसके देश भक्ति संदेह नहीं किया जा सकता है। पीएफआई एक आतंकी संगठन है। जिसके तार सीरिया, इराक, अफगानिस्तान, बांग्लादेश आदि देशों से जुड़ा हुआ है। यहां से उन्हें हथियार और आर्थिक मदद सहित कई संसाधन उपलब्ध कराए जाते हैं और भारत के एक विशेष वर्ग के युवाओं को अपने संगठन में जोड़ कर देश में आतंक और खौफ का माहौल पैदा करते हैं। इसके संबंध भारत में केरल, तमिलनाडु, कर्नाटक, बिहार सहित कई राज्यों में हैं। सबसे हैरत की बात है कि महागठबंधन के कई बड़े नेता, जिनमें ललन सिंह, लालू यादव, शिवानंद तिवारी, बलियावी, दिग्विजय सिंह आदि पीएफआई के समर्थन में खड़े हैं और यह आरएसएस पर प्रतिबंध लगाने की बात कर रहे हैं। जबकि स्पष्ट है कि पीएफआई एक आतंकवादी संगठन है। जबकि आरएसएस आतंकी संगठन नहीं है। आरएसएस ने कभी भी देश विरोधी गतिविधियों में भाग नहीं लिया है। हमेशा देश की संस्कृति और उसकी विरासत को सहेजने का काम किया हैं। राजद के वरिष्ठ नेता शिवानंद तिवारी कह रहे हैं कि पाकिस्तान जिंदाबाद का नारा लगाना भी प्रतिरोध का प्रतीक है। अब उनकी मानसिकता स्पष्ट है कि यह तमाम नेता पीएफआई के बचाव में एक पंक्ति में खड़े हैं। सबसे हैरत की बात है कि कांग्रेस ने पीएफआई को प्रश्रय देने का काम किया है। इसका उदाहरण यह है कि 2013 से 17 के बीच पीएफआई पर 160 मुकदमे दर्ज किए गए। जिनमें 1600 लोगों को नामजद किया गया। कांग्रेस की सरकार ने सभी के मुकदमे वापस ले लिये। यह निर्णय एक वर्ग विशेष को संतुष्ट करने के लिए और उनके वोट बैंक को अपने खाते में डालने के लिए किया गया। बिहार की सरकार पीएफआई मामले में एनआईए से जांच नहीं कराना चाहती थी। लेकिन केंद्र सरकार की पहल के बाद एनआईए ने बिहार के कई जिलों में एक साथ छापेमारी की। इस दौरान पटना में एक दस्तावेज मिला। जिसमें स्पष्ट था कि देश को 2047 तक मुस्लिम राष्ट्र बना दिया जाएगा। हम चाहते हैं कि देश की कोई भी पार्टी हो, वह आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में कोई राजनीति ना करें। उन्हें देश हित में एक मंच पर आकर आतंकवाद के खिलाफ लड़ना चाहिए।

अभी हाल में ही राजद का राष्ट्रीय अध्यक्ष लालू यादव को बनाया गया है। शायद वह 14वीं या 15वीं बार राष्ट्रीय अध्यक्ष बने हैं। ऐसे में उन्हें राजद के संविधान में स्पष्ट कर देना चाहिए वह जीवन पर्यंत पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष बने रहेंगे। चुनाव का मुखौटा पहनाकर खुद राष्ट्रीय अध्यक्ष बन जाना यह कांग्रेस और आरजेडी जैसे पार्टियों की नीति रही है। इन पार्टियों में परिवारवाद हावी रहा है। चेहरा चाहे कोई भी हो, सत्ता और शासन एक ही व्यक्ति के हाथ में सिमट कर रह जाती है। हालांकि हाल के दिनों में सोनिया गांधी को भी कांग्रेस में चुनौती मिलनी शुरू हो गई है। वहीं उन्होंने राहुल गांधी के भारत जोड़ो यात्रा पर कहा कि वह भारत जोड़ो यात्रा पर नहीं बल्कि कांग्रेस जोड़ो यात्रा पर निकले हुए है। भारत तो पहले से ही जुड़ा हुआ है। ऐसे में 2024 में नरेंद्र मोदी को प्रधानमंत्री बनने से कोई नहीं रोक सकता है। संवाददाताओं के कुढ़नी विधानसभा उपचुनाव पर उन्होंने कहा कि विधानसभा उपचुनाव के लिए पार्टी हमेशा तैयार हैं।


इस अवसर पर पूर्व मंत्री सुरेश शर्मा, भाजपा जिला अध्यक्ष रंजन कुमार, पूर्व विधान पार्षद नरेंद्र सिंह, डॉ अशोक शर्मा, अरविंद कुमार सिंह, हरिमोहन चौधरी, मनोज तिवारी, धर्मेंद्र साहू, सचिन कुमार, धनंजय झा, उमेश पांडे, विजय पांडे, निर्मला साहू, मुरली कुमार, अंजना कुशवाहा समेत बड़ी संख्या में भाजपा कार्यकर्ता उपस्थित उपस्थित थे।

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